इटवा, सिद्धार्थनगर। प्रदेश कांग्रेस पार्टी अध्यक्ष अजय राय और 10 अन्य कार्यकर्ताओं के खिलाफ वाराणसी के सिगरा थाने में दर्ज कथित “फर्जी” मुकदमे को वापस लेने की मांग को लेकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने सोमवार को इटवा तहसील परिसर में जोरदार प्रदर्शन किया। जिला कांग्रेस अध्यक्ष काजी सोहेल अहमद के नेतृत्व में हुए इस प्रदर्शन के दौरान कार्यकर्ताओं ने राज्यपाल को संबोधित एक ज्ञापन उप जिलाधिकारी इटवा को सौंपा।
प्रदर्शन का कारण और नेताओं का आक्रोश
इस अवसर पर प्रदेश कांग्रेस पार्टी सचिव डॉक्टर नादिर सलाम और जिलाध्यक्ष काजी सुहेल अहमद ने योगी आदित्यनाथ सरकार पर कड़ा हमला बोला। उन्होंने कहा कि 10 जुलाई को वाराणसी में आम जनता की पीड़ा – जलभराव, ध्वस्त सीवर व्यवस्था, परेशान दुकानदार और कांवड़ यात्रियों की समस्याओं – की ओर सरकार का ध्यान खींचने के लिए प्रदेश अध्यक्ष अजय राय के नेतृत्व में निकाली गई ‘पोल खोल पदयात्रा’ के दौरान उन पर और 10 अन्य कांग्रेसजनों पर मुकदमा दर्ज करना “बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण और दमनात्मक” कार्रवाई है।

डॉ. सलाम ने जोर देकर कहा, “कांग्रेस पार्टी योगी सरकार के इस दुराग्रहपूर्ण और दमनकारी रवैये का पुरजोर विरोध करती है। हम राज्यपाल महोदय से मांग करते हैं कि प्रदेश अध्यक्ष अजय राय जी और अन्य कांग्रेस कार्यकर्ताओं के खिलाफ दर्ज यह फर्जी मुकदमा तत्काल वापस लिया जाए।”
काशी की दुर्दशा और लोकतंत्र पर प्रहार का आरोप
पूर्व जिला अध्यक्ष ठाकुर प्रसाद तिवारी और जिला कांग्रेस उपाध्यक्ष जावेद मुकीम ने वाराणसी (काशी) की स्थिति पर चिंता जताई। उन्होंने कहा, “काशी जैसे पवित्र और विश्व प्रसिद्ध धार्मिक नगरी में आज आम जनता मूलभूत सुविधाओं के लिए तरस रही है। सामान्य जीवन तो दूर, सावन के इस पवित्र महीने में भी श्रद्धालु कांवड़ियों की सुविधा का कोई पर्याप्त इंतजाम सरकार ने नहीं किया है।”
उन्होंने आगे आरोप लगाया, “जब कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय राय जी ने इन गंभीर समस्याओं की ओर सरकार का ध्यान आकर्षित कराने का शांतिपूर्ण प्रयास किया, तो उन पर और पार्टी के अन्य लोगों पर फर्जी मुकदमे दर्ज करवाकर लोकतंत्र को कुचलने का प्रयास किया जा रहा है। कांग्रेस ऐसी किसी भी दमनात्मक कार्रवाई को बर्दाश्त नहीं करेगी।”
व्यापक उपस्थिति
इस प्रदर्शन में कांग्रेस के बड़ी संख्या में कार्यकर्ता और नेता शामिल हुए। उपस्थित लोगों में मैनुद्दीन, सतीश चन्द्र त्रिपाठी, रियाज मनिहार, ऋषिकेश मिश्रा, अफसार अहमद, शकील अहमद, मुस्तकीम खान, महबूब आलम, सरफराज अहमद, मास्टर फूलचंद प्रेम तिवारी, शमशाद अहमद, नफीस चौधरी, महफूज चौधरी, गौचरण यादव, कायर प्रधान, दिवाकर त्रिपाठी, रियाजउद्दीन राईनी, होरी लाल श्रीवास्तव, रितेश त्रिपाठी, डॉ प्रमोद कुमार, उस्मान अली, अर्जुन कनौजिया, अब्दुल समद, उमेर अहमद, फूलचंद सहित तमाम कांग्रेसजन शामिल थे।
मांग स्पष्ट: फर्जी मुकदमे वापस लिए जाएं
कांग्रेस का यह प्रदर्शन स्पष्ट संदेश देता है कि पार्टी नेतृत्व और कार्यकर्ता सरकार द्वारा विरोध के स्वर को दबाने के प्रयास के रूप में देखे जा रहे इस कदम को चुपचाप स्वीकार नहीं करेंगे। उनकी मुख्य मांग राज्यपाल के हस्तक्षेप से अजय राय और अन्य कार्यकर्ताओं के खिलाफ दर्ज मुकदमे को तुरंत वापस लेना है। साथ ही, यह प्रदर्शन वाराणसी जैसे महत्वपूर्ण शहर में बुनियादी ढांचे और नागरिक सुविधाओं की गंभीर समस्याओं की ओर भी पुनः ध्यान आकर्षित कराता है, जिसे कांग्रेस सार्वजनिक रूप से उठाने के लिए दंडित किए जाने का आरोप लगा रही है। यह घटना उत्तर प्रदेश में सत्ता और विपक्ष के बीच बढ़ते तनाव का एक नया अध्याय जोड़ती है।