लखनऊ: (अबू शहमा अंसारी) मोमिन अंसार सभा द्वारा आयोजित 15वें राष्ट्रीय पिछड़ा सम्मेलन के दौरान प्रसिद्ध शायर एवं साहित्यकार ज़की तारिक बाराबंकवी को उनकी अद्वितीय साहित्यिक सेवाओं और सामाजिक प्रभाव के लिए एक प्रतिष्ठित सम्मान से नवाज़ा गया। यह सम्मान उत्तर प्रदेश सरकार के राज्य मंत्री (अल्पसंख्यक कल्याण, मुस्लिम वक्फ एवं हज) दानिश आज़ाद अंसारी द्वारा प्रदान किया गया। इस अवसर पर मोमिन अंसार सभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अक़रम अंसारी, मोहम्मद इक़राम अंसारी, मोहम्मद रईस अंसारी, अबू शहमा अंसारी तथा अन्य सम्मानित हस्तियां भी उपस्थित रहीं।
Thank you for reading this post, don't forget to subscribe!दानिश आज़ाद अंसारी ने अपने संबोधन में कहा कि ज़की तारिक बाराबंकवी एक ऐसी शख्सियत हैं जिन्होंने उर्दू साहित्य और पत्रकारिता के क्षेत्र में बेमिसाल योगदान दिया है। उनकी शायरी ने उर्दू भाषा को एक नई दिशा दी है और सामाजिक मुद्दों पर उनकी गहरी समझ ने न केवल साहित्य को जागरूक किया बल्कि समाज में जागरूकता और परिवर्तन के लिए एक सशक्त आवाज भी बनी। उनकी मेहनत और समर्पण के प्रति सम्मान प्रकट करते हुए यह पुरस्कार प्रदान किया गया है। उन्होंने यह भी कहा कि ज़की तारिक बाराबंकवी की सेवाएं केवल साहित्य जगत में ही नहीं, बल्कि सामाजिक परिवर्तन के क्षेत्र में भी अत्यंत महत्वपूर्ण हैं।
अक़रम अंसारी ने ज़की तारिक बाराबंकवी की शायरी और सामाजिक सेवाओं पर अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि ज़की तारिक बाराबंकवी ने अपनी शायरी के माध्यम से साहित्य को नई रोशनी प्रदान की है और समाज के विभिन्न पहलुओं को उजागर किया है। उनकी लेखनी ने न केवल उर्दू साहित्य को समृद्ध किया बल्कि सामाजिक और सांस्कृतिक मुद्दों को भी निर्भीकता से सामने रखा। उनकी शायरी ने साहित्य प्रेमियों के साथ-साथ आम जनता में भी जागरूकता फैलाने का कार्य किया। हम उनकी सेवाओं की सराहना करते हैं और उनके इस सम्मान पर गर्व महसूस करते हैं।
मोहम्मद इक़राम अंसारी ने ज़की तारिक बाराबंकवी के संदर्भ में आगे कहा कि उनकी रचनाओं ने उर्दू साहित्य में नए आयाम स्थापित किए हैं। उनकी सृजनशीलता और सामाजिक मुद्दों पर गहरी दृष्टि ने युवाओं को एक नई दिशा प्रदान की है, जिससे उर्दू साहित्य का दायरा और भी विस्तृत हुआ है।
अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने भी इस अवसर पर ज़की तारिक बाराबंकवी की मेहनत, प्रतिबद्धता और उर्दू साहित्य के लिए उनके अमूल्य योगदान को सराहा। इस कार्यक्रम में मोमिन अंसार सभा के अन्य सदस्य और विभिन्न क्षेत्रों से जुड़े लोग भी उपस्थित रहे, जिन्होंने इस सम्मान के महत्व और ज़की तारिक बाराबंकवी की सेवाओं का समर्थन करते हुए उनकी सराहना की।
यह सम्मान ज़की तारिक बाराबंकवी की उर्दू साहित्य और पत्रकारिता में दी गई सेवाओं का प्रतीक है और यह उनकी कठिन तपस्या और दृढ़ संकल्प को राष्ट्रीय स्तर पर स्वीकृति प्रदान करता है। इस अवसर पर ज़की तारिक बाराबंकवी ने अपने भाव व्यक्त करते हुए कहा कि यह सम्मान मेरे लिए एक नई प्रेरणा का स्रोत है और इसके माध्यम से मैं अपनी सेवाओं को और अधिक प्रभावी ढंग से आगे बढ़ाऊंगा, ताकि उर्दू साहित्य और सामाजिक परिवर्तन के क्षेत्र में और भी सकारात्मक योगदान दे सकूं।